चन्देलों की बेटी थी, गौंडवाने की रानी थी,
चण्डी थी रणचण्डी थी, वह दुर्गावती भवानी थी।
अप्रतिम साहस, शौर्य और पराक्रम की प्रतीक, मुगल सेना को रणभूमि में परास्त करने वाली वीरांगना रानी दुर्गावती जी की जयंती पर सादर नमन।
आपकी गौरवगाथा भावी पीढ़ियों के लिए सदैव प्रेरणा का स्रोत रहेगी।
चन्देलों की बेटी थी, गौंडवाने की रानी थी, चण्डी थी रणचण्डी थी, वह दुर्गावती भवानी थी। अप्रतिम साहस, शौर्य और पराक्रम की प्रतीक, मुगल सेना को रणभूमि में परास्त करने वाली वीरांगना रानी दुर्गावती जी की जयंती पर सादर नमन। आपकी गौरवगाथा भावी पीढ़ियों के लिए सदैव प्रेरणा का स्रोत रहेगी।
Like
2
0 Comentários 0 Compartilhamentos 392 Visualizações 0 Anterior
Talkfever - A Global Social Network https://willing-aqua-chinchilla.88-222-213-151.cpanel.site/